के. सिवन ने इसरो को लेकर फैले भ्रम पर जवाब दिए हैं. (फाइल फोटो)
इसरो चीफ (ISRO Chief) के. सिवन (K. Sivan) ने Unlocking India’s Potential in Space Sector नाम के एक वेबिनार में भाग लेते हुए कहा है कि इसरो को लेकर भी कई तरह के भ्रम फैले हुए हैं.
उन्होंने यह भी कहा है कि सरकार द्वारा स्पेस सेक्टर में किए गए सुधार भविष्य में गेमचेंजर साबित होने जा रहे हैं. ये बातें सिवन ने Unlocking India’s Potential in Space Sector नाम के एक वेबिनार में भाग लेते हुए कही है.
The Space sector reforms that govt has introduced is going to be a real game-changer in India’s space sector: ISRO (Indian Space Research Organisation) Chief K Sivan at a webinar on “Unlocking India’s Potential in Space Sector” pic.twitter.com/v21fdlBMgA
— ANI (@ANI) August 20, 2020
There have been many misconceptions like privatisation of ISRO. I want to state that there is no privatisation of ISRO. In fact, the whole mechanism is enabling private people to carry out space activities, which otherwise are done by ISRO: K Sivan, ISRO Chief https://t.co/dIDCDUrknU pic.twitter.com/JrTUQvyqmx
— ANI (@ANI) August 20, 2020
गौरतलब है कि इससे पहले खबर आई थी कि कोरोना वायरस महामारी के कारण ‘गगनयान’ के पहले चरण के तहत भारत के मानवरहित अंतरिक्ष अभियान को भेजने में देरी हो सकती है जिसके दिसंबर 2020 में प्रक्षेपण की योजना है. सूत्रों ने यह जानकारी दी थी. भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने दिसंबर 2021 में ‘गगनयान’ के तहत मानव को पहली बार अंतरिक्ष में भेजने की योजना से पहले दो मानवरहित मिशनों को अंतरिक्ष में भेजने की योजना बनाई है. पहले मानवरहित मिशन में संभावित देरी के बारे में हाल ही में अंतरिक्ष आयोग को बता दिया गया है जो अंतरिक्ष से जुड़े मुद्दों पर नीति बनाने वाली शीर्ष इकाई है. इसरो के अध्यक्ष और अंतरिक्ष विभाग के सचिव के. सिवन अंतरिक्ष आयोग के प्रमुख हैं.