केंद्र सरकार ने नेशनल रिक्रूटमेंट एजेंसी को मंजूरी दे दी है. इससे युवाओं को केंद्र सरकार की नौकरियों के लिए अलग-अलग परीक्षा नहीं देनी होगी.
केंद्रीय मंत्रिमंडल (Cabinet) ने नेशनल रिक्रूटमेंट एजेंसी (NRA) की स्थापना को मंजूरी दे दी है. ये एजेंसी केंद्र सरकार में नॉन-गैजेटेड पोस्ट (Non-Gazetted Posts) पर नियुक्ति के लिए कॉमन एलिजीबिलिटी टेस्ट (CET) लेगी.
हर रिक्रूटमेंट एजेंसी के लिए अलग नहीं देना होगा टेस्ट
केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर (Prakash Javadekar) ने कहा कि यह सरकारी नौकरी ढूंढ रहे युवाओं के लिए बड़ी खुशखबरी है. एनआरए की स्थापना के बाद केंद्र सरकार की नौकरियों के लिए अलग-अलग परीक्षाओं में बैठने वाले युवाओं को सिर्फ एक ही टेस्ट देना होगा. जावड़ेकर ने कहा कि नौकरी के लिए युवाओं को बहुत परीक्षाएं देनी पड़ती हैं. इस समय 20 भर्ती एजेंसियां हैं. ऐसे में युवाओं को हर एजेंसी के लिए परीक्षा देने के लिए कई जगह जाना पड़ता है. अब नेशनल रिक्रूटमेंट एंजेसी कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट लेगी और उन्हें हर एजेंसी के लिए अलग परीक्षा देने से निजात मिलेगी.
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जावड़ेकर ने कहा कि एनआरए से करोड़ों युवाओं को सीधा फायदा मिलेगा. युवाओं की तरफ से यह मांग कई साल से उठ रही थी. अब एनआरए की स्थापना से उनका पैसा भी बचेगा और मानसिक परेशानी भी दूर रहेगी. उन्हें एक ही परीक्षा से आगे जाने का मौका मिलेगा. केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि यह ऐतिहासिक सुधार है. इससे भर्ती, चयन, नौकरी में आसानी और जीवन में आसानी होगी. केंद्र सरकार के सचिव सी. चंद्रमौली ने कहा कि फिलहाल हम तीन एजेंसियों की परीक्षाओं को कॉमन कर रहे हैं. इनमें बैंक में भर्ती के लिए आईबीपीएस, रेलवे रिक्रूटमेंट बोर्ड और स्टाफ सिलेक्शन कमीशन शामिल हैं.
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तीन साल होगी सीईटी मेरिट लिस्ट की मान्यता
चंद्रमौली ने कहा कि समय के साथ भविष्य में सभी भर्ती एजेंसियों के लिए सामान्य पात्रता परीक्षा (Common Eligibility Test) कराई जाएगी. बता दें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2020-21 में सरकारी नौकरियों के लिए एनआरए बनाने के प्रस्ताव की घोषणा की थी. यह कंप्टूयर बेस्ड ऑनलाइन परीक्षा होगी. हर जिले में इसके लिए एक सेंटर बनेगा. सीईटी मेरिट लिस्ट तीन साल के लिए मान्य रहेगी.