आयकर विभाग ने कई जगहों पर छापेमारी की है (फाइल फोटो)
आयकर विभाग (IT Department) को जानकारी मिली थी कि कुछ चीनी व्यक्ति (Chinese individual) और उनके भारतीय सहयोगी मनी लॉन्ड्रिंग (money laundering) और हवाला लेनदेन में शेल संस्थाओं की एक श्रृंखला के जरिए शामिल थे”. इसी सिलसिले में कुछ बैंक अधिकारियों पर भी छापा मारा गया है.
- News18Hindi
- Last Updated:
August 11, 2020, 11:39 PM IST
इसमें कहा गया है कि “चीनी कंपनी की सहायक कंपनी और उससे जुड़ी अन्य कंपनियों ने भारत में खुदरा शोरूमों का कारोबार खोलने के लिए शेल संस्थाओं से 100 करोड़ रुपये से अधिक की फर्जी अग्रिम राशि ली थी.” सीबीडीटी, जो कर विभाग के लिए नीतियां बनाती है, उसने कहा है कि इस जांच को “विश्वसनीय इनपुट के आधार पर शुरू किया गया था. जानकारी मिली थी कि कुछ चीनी व्यक्ति और उनके भारतीय सहयोगी मनी लॉन्ड्रिंग और हवाला लेनदेन में शेल संस्थाओं की एक श्रृंखला के जरिए शामिल थे”. इसी सिलसिले में कुछ बैंक अधिकारियों पर भी छापा मारा गया है.
बैंक कर्मचारियों और चार्टर्ड अकाउंटेंट्स के शामिल होने के भी मिली सबूत
इसमें शामिल संस्थाओं की पहचान किए बिना एक बयान में कहा गया है, “जांच की कार्रवाई से पता चला है कि चीनी व्यक्तियों के इशारे पर, विभिन्न डमी संस्थाओं में 40 से अधिक बैंक खाते बनाए गए थे, जिनमें इस पूरी अवधि में 1,000 करोड़ रुपये से अधिक रुपये जमा थे.”उन्होंने कहा, “हवाला लेनदेन और मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े अपराध साबित करने वाले दस्तावेज खोज के दौरान पाये गये हैं. इनमें बैंक कर्मचारियों और चार्टर्ड अकाउंटेंट्स की सक्रिय भागीदारी के सबूत पाये गये हैं.”
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सीबीडीटी ने कहा कि हांगकांग और अमेरिकी डॉलर से जुड़े विदेशी हवाला लेनदेन के साक्ष्य का भी खुलासा हुआ है.